औद्योगिक क्रांति क्या है? | Audyogik Kranti kya hai

औद्योगिक क्रांति क्या है? | Audyogik Kranti kya hai

औद्योगिक क्रांति का अर्थ; जब हाथों द्वारा बनाई गई वस्तुओं के स्थान पर आधुनिक मशीनों के द्वारा वस्तुओं को बनाया जाता है तब उसे औद्योगिक क्रांति कहते हैं। इस प्रक्रिया में छोटे-छोटे स्तरों पर होने वाले निर्माण कार्यों को आधुनिक मशीनों के द्वारा बड़े स्तरों पर किया जाता है, उसे हम औद्योगिक क्रांति कहते हैं।

औद्योगिक क्रांति की परिभाषा

डेविस के अनुसार:- “औद्योगिक क्रांति का आशय उन परिवर्तनों से है जो मनुष्य द्वारा उत्पादन करने के प्राचीन उपायों को त्याग कर बड़े पैमाने पर विशाल कारखानों में वस्तुओं का उत्पादन किया जाता है।”

औद्योगिक क्रांति कब हुई

औद्योगिक क्रांति सबसे पहले इंग्लैंड (ब्रिटेन) में हुई, औद्योगिक क्रांति 1760 से लेकर सन 1870 तक हुई थी। और यह क्रांति धीरे-धीरे पूरे यूरोप में फैल गई। जैसे रूस, जापान, जर्मनी, फ्रांस आदि देशों में।

औद्योगिक क्रांति के कारण | audyogik Kranti ke Karan

औद्योगिक क्रांति के कारण इस प्रकार से हैं-

1. सस्ते कच्चे माल की प्राप्ति- उस समय इंग्लैंड (ब्रिटेन) के कई उपनिदेशक राज्य थे इसलिए वहां पर कम कीमत में पर्याप्त कच्चा माल मिल जाता था जिससे वह आसानी से कम लागत में नए उत्पाद बनाने में सुविधा हुई।

2. जनसंख्या वृद्धि- औद्योगिक क्रांति का सबसे बड़ा कारण जनसंख्या की वृद्धि का होना है, जनसंख्या की वृद्धि के कारण विश्व भर से वस्तुओं की मांग होने लगी जिसके कारण औद्योगिक क्रांति को प्रोत्साहन मिला।

3. विशाल पूंजी की उपलब्धता- सन 1757 में ब्रिटेन की ईस्ट इंडिया कंपनी ने बंगाल के नवाब सिराजुद्दौला को हराकर बंगाल, बिहार और उड़ीसा पर अपना अधिकार जमा लिया और इनसे धन प्राप्त करके अपने उद्योग में लगाया।

4. विदेशी बाजार की आवश्यकताओं की पूर्ति- आधुनिक युग के प्रारंभ में यूरोप के लोगों में अमेरिका और एशिया के नए बाजारों की मांग को पूरा करने के लिए औजारों को उत्पन्न करने के तरीकों में उन्नति करने की इच्छा उत्पन्न हुई।

5. सस्ते और पर्याप्त मजदूरों की उपलब्धता- इंग्लैंड में सस्ते और पर्याप्त संख्या में आसानी से मजदूर मिल जाती थी जिसके कारण औद्योगिक क्रांति हुई।

6. अनुकूल परिस्थितियां- इंग्लैंड के लिए माल बेचने और लाने के लिए पर्याप्त समुद्री रास्ते उपलब्ध थे जिसके कारण माल लाने और ले जाने में कोई परेशानी नहीं होती थी।

औद्योगिक क्रांति के परिणाम

औद्योगिक क्रांति का मानव समाज पर अत्याधिक प्रभाव पड़ा, औद्योगिक क्रांति के परिणाम स्वरूप विश्व के उद्योग क्षेत्र में नए-नए परिवर्तन आए और अंतरराष्ट्रीय व्यापार में उन्नति हुई।

औद्योगिक क्रांति के परिणाम इस प्रकार से हैं-

सामाजिक जीवन पर प्रभाव

1. बेरोजगारी में वृद्धि- औद्योगिक क्रांति के फलस्वरूप सस्ते और आकर्षक माल लोगों को मिलने लगे जिसके कारण देसी लोगों द्वारा बनाए गए वस्तुओं के खरीददार कम हो गए, ऐसे करते-करते लोगों द्वारा बनाए गए उत्पाद बेकार होते गए, और मशीनों द्वारा कई मजदूरों का काम छीन लिया गया, इस प्रकार हजारों लोगों को रोजगार नहीं मिल पा रहा था इस प्रकार औद्योगिक क्रांति के परिणामस्वरुप बेरोजगारी में वृद्धि होती चली गई।

2. वर्ग संघर्ष का उदय- औद्योगिक क्रांति के परिणाम स्वरूप संपूर्ण समाज दो वर्गों में बट गया।

  1. पूंजीपति वर्ग और
  2. मजदूर वर्ग

इन दोनों वर्ग में अपने हितों को लेकर संघर्ष प्रारंभ हो गया जिसके परिणाम स्वरूप सामाजिक शांति के स्थान को वर्ग संघर्ष ने ले लिया।

3. नगरों का विकास- जिन स्थानों में बहुत ज्यादा मात्रा में कच्चा माल उपलब्ध था वहां बड़े उद्योगों की स्थापना की गई। और उन्हें औद्योगिक केंद्र बनाए गए। काम की तलाश में कई लोग यहां आने लगे और इससे तीव्र गति से नगरों की संख्या बढ़ने लगी।

4. पारिवारिक बिखराव- औद्योगिक क्रांति के कारण लोग धन के पीछे भागने लगे इससे संयुक्त परिवार लगातार टूटने लगे। अधिकतर लोग कारखानों में काम कर अपनी आर्थिक स्थिति को बेहतर करना चाहते थे, इससे बच्चों के पालन पोषण पर गहरा प्रभाव पड़ा वे गलत रास्ते की ओर जाने लगी।

5. नैतिक मूल्य में गिरावट- औद्योगिक क्रांति ने मनुष्य को अंधा बना दिया दया, प्रेम, सदाचार केवल किताबी बातें रह गई, व्यक्ति अपने स्वार्थ के लिए वा धन प्राप्ति के लिए किसी भी प्रकार के अपराध करने से नहीं डरता था, मदिरापान एवं जुए जैसे खेल का प्रचलन बढ़ता चला जा रहा था।

आर्थिक जीवन पर प्रभाव

1. सुख सुविधाओं में वृद्धि- औद्योगिक क्रांति के कारण नए-नए सुख-सुविधाएं उत्पन्न होने लगी, आर्थिक प्रगति ने मनुष्य के इच्छा शक्ति को बढ़ा दिया इस प्रकार औद्योगिक क्रांति ने मानव जीवन को अनेक प्रकार के सुख सुविधाओं से भरपूर कर दिया।

2. अंतर्राष्ट्रीय व्यापारिक संबंधों का विकास- औद्योगिक क्रांति ने विश्व में बाजारवाद को प्रोत्साहित किया। प्रत्येक देश अपने उत्पाद को विदेशों में भेजना चाहता था जिसके कारण एक-दूसरे के निकट हाय और अंतरराष्ट्रीय व्यापार को प्रोत्साहन मिला।

औद्योगिक क्रांति से लाभ

औद्योगिक क्रांति से लाभ इस प्रकार से हैं-

1. संसाधनों का विकास- औद्योगिक क्रांति के परिणामस्वरूप परिवहन और संचार के साधनों का विकास करके संपूर्ण संसार को एकता के सूत्र में बांध दिया इससे विभिन्न देशों के बीच आपसी आर्थिक संबंधों की स्थापना हुई।

2. नए आविष्कारों को प्रोत्साहन- औद्योगिक क्रांति के परिणाम स्वरूप नवीन खोज एवं आविष्कारों को प्रोत्साहन मिला और सभी क्षेत्रों में शोध और अविष्कार हुए।

3. औद्योगिक विकास- इंग्लैंड से प्रारंभ हुई औद्योगिक क्रांति से प्रेरित होकर विश्व के कई देशों ने भी अपने आद्योगी करण को प्रोत्साहन दिया जिससे वहां की जनता का विकास हो पाया।

4. संचार साधनों का विकास- औद्योगिक क्रांति के कारण रेल, सड़क वायु तथा जल यातायात के साधनों ने विश्व की दूरी को बहुत कम कर दिया। औद्योगिक क्रांति के परिणाम स्वरुप ही टेलीफोन डाक तार आदि संचार साधनों से विश्व के लोग एक दूसरे के नजदीक आए।

5. व्यापार तथा कृषि में क्रांति- औद्योगिक क्रांति के कारण कृषि में अच्छे बीज खाद और नए कृषि उपकरणों का प्रयोग होने लगा जिससे कृषि कार्य में तीव्र वृद्धि हुई और फसलों में भी वृद्धि होगी।

6. सुख-सुविधाओं में वृद्धि- औद्योगिक क्रांति से माल सस्ता और अधिक मात्रा में प्राप्त होने लगा इससे मनुष्य की सुख-सुविधाओं में वृद्धि हुई।

औद्योगिक क्रांति की विशेषताएं लिखिए

औद्योगिक क्रांति की विशेषताएं इस प्रकार से है-

  • औद्योगिक क्रांति के कारण विश्व में इंजीनियरों की संख्या तीव्र गति से बड़ी इससे विश्व भर में इंजीनियर वर्ग के लोगों का विकास हुआ और नई-नई मशीनों और कारखानों की स्थापना हुई।
  • औद्योगिकरण के द्वारा यातायात साधनों में तीव्र गति से वृद्धि हुई तथा औद्योगिक क्रांति के युग में नए-नए साधनों का उपयोग किया गया जिसके फलस्वरूप आने जाने में सुविधा हुई। इससे एक देश दूसरे देश पर उत्पादित वस्तुओं को बेच पा रहा था।
  • औद्योगिक युग में लोहा बनाने की मशीनों में वृद्धि हुई। क्योंकि प्राचीन काल से लोहा का प्रयोग होता आ रहा है लेकिन औद्योगिक क्रांति से मशीन एवं उपकरणों से लोहे को पीला कर शुद्ध करके इस्पात बनाने में कम मेहनत लगती है और लोहे की तुलना में इस्पात चमकदार, हल्का, मजबूत एवं जंग नहीं लगता है इसलिए औद्योगिक क्रांति में मशीन निर्माण में वृद्धि हुई।
  • औद्योगिक क्रांति के कारण कोयला उद्योग में विकास हुआ, तथा कोयला उद्योग को बढ़ाने के लिए नए-नए मशीनों का अविष्कार हुआ तथा और कोयले की खानों को तलाश किया जाने लगा।
  • औद्योगिक क्रांति के कारण वस्त्र उद्योग के क्षेत्र में काफी विकास हुआ इसके कारण रेशमी वस्त्रों की मांग बढ़ने लगी और उद्योग कारखानों में नए-नए यंत्रों का प्रयोग किया जाने लगा जहां पर काटने और बुनने की प्रक्रिया में मदद मिली।
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